गरिमा सिंह निदेशक सामाजिक संस्था आँखे और डिप्टी एडिटर अर्थव्यवस्था परिदृश्य आज और कल
- यह एक केंद्रीय योजना है। जिसका मकसद राशन कार्ड पोर्टबिलिटी है।
- कोरोना महामारी के द्वौर में उपजी हुई चुनौतियों और बदलते परिदृश्य में भारत सरकार ने सामाजिक सुरक्षा के प्रति अपनी प्रतिब्धता और वचनबद्धता के अनुरूप खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिये 1 जून 2020 से वन नेशन वन राशन कार्ड योजना लागू कर दिया।
- ध्यात्वय है कि इस योजना का प्रस्ताव वर्ष 2019 में ही किया गया था।
- इस घोषणा के अनुरूप 1 जून 2020 से 20 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेश में लागू कर दिया गया।
- 1 अगस्त 2020 से इसमें 3 और राज्य जुड़ जायेगे।
- इस प्रकार से कुल 23 राज्य में यह योजना लागू हो जायेगा।
- इस वित्तीय वर्ष के समाप्ति तक यह योजना देश के सभी राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों में लागू हो जायगी।
- अब तक क्या था कि जहा से हमारा राशन कार्ड बना होता था हम वही से राशन प्राप्त कर सकते थे।
- परन्तु अब ऐसा नहीं होगा। हम कही से भी पुरे देश से प्राप्त कर सकते है।
- चाहे राशन कार्ड किसी भी राज्य से ,किसी भी जिले से बना हो।
- सरकार 1951 से ही देश में गरीबों को खाद्य सुरक्षा उपलब्ध कराने के लिए सार्वजनिक वितरण प्रणाली को किर्यान्वित करती चली आ रही है।
- और समय -समय पर उसमे सुधार भी करती रही है।
- सुधारो की कड़ी में वन नेशन वन राशन कार्ड योजना शुरू की गई।
- अर्थात उपभोक्ता को राशन कार्ड प्रदान किया जाये गए उस पर 10 अंको का एक विशेष नंबर अंकित होगा। ,जैसे -पैन कार्ड पर एक विशेष नंबर होता है।
- एक देश एक राशन कार्ड का मतलब एक ही राशन कार्ड का इस्तेमाल देश के किसी भी हिस्से में किया जा सकता है